नैनी में शिक्षक की पिटाई से नर्सरी छात्र की मौत: परिवार का आरोप—गाल पर थप्पड़ मारा, सिर बेंच से टकराया, 10 मिनट तक तड़पता रहा शिवाय
प्रयागराज, नैनी। नैनी थाना क्षेत्र के महेवा पश्चिम पट्टी स्थित दीन दयाल पब्लिक स्कूल में गुरुवार को हृदय विदारक घटना घटित हुई। नर्सरी में पढ़ने वाले मात्र साढ़े तीन साल के छात्र शिवाय की स्कूल में मौत हो गई। परिजनों ने आरोप लगाया है कि शिक्षक के थप्पड़ मारने से बच्चा बेंच से टकराकर गिर पड़ा और वहीं तड़पते-तड़पते उसकी मौत हो गई। इस घटना के बाद स्कूल प्रशासन पर लापरवाही, निर्दयता और संवेदनहीनता के आरोप लग रहे हैं। पुलिस ने दो महिला शिक्षिकाओं पर मुकदमा दर्ज कर लिया है और जांच में जुटी है।
भाई की आंखों के सामने हुई मौत
शिवाय के बड़े भाई सुमित ने बताया कि उसका छोटा भाई स्कूल में लगातार रो रहा था। दो महिला टीचरों ने पहले उसे शांत कराने की कोशिश की और बाद में उसे सुमित की क्लास में लाकर बैठा दिया। जब वह फिर भी नहीं रुका, तो शिक्षिका आरती ने गुस्से में आकर शिवाय के गाल पर जोरदार थप्पड़ जड़ दिया। इससे उसका सिर बेंच से टकरा गया और वह जमीन पर गिर गया। खून निकलने लगा, वह पानी मांगता रहा, लेकिन किसी ने ध्यान नहीं दिया। 10 मिनट तक वह तड़पता रहा और फिर अचानक शांत हो गया।
स्कूल से फोन आया: बच्चा बेहोश हो गया है
शिवाय के पिता वीरेंद्र कुमार, जो पेशे से किराना व्यापारी हैं, ने बताया कि सुबह करीब 9 बजे स्कूल से कॉल आया कि उनका बेटा बेहोश हो गया है। वह तुरंत पत्नी के साथ स्कूल पहुंचे, जहां देखा कि शिवाय के मुंह और नाक से खून बह रहा था। सिर के बाएं हिस्से पर चोट थी। तत्काल उसे सीएचसी चाका ले जाया गया, जहां से हालत गंभीर बताकर एसआरएन अस्पताल रेफर कर दिया गया, लेकिन रास्ते में ही उसकी मौत हो गई।
पोस्टमार्टम और केस दर्ज
मृतक बच्चे के पिता की शिकायत पर पुलिस ने शिक्षिकाएं आरती और शिवांगी के खिलाफ आईपीसी की धारा 304 (गैर इरादतन हत्या) में मुकदमा दर्ज किया है। शव को पोस्टमॉर्टम के लिए भेजा गया। दो डॉक्टरों के पैनल द्वारा जांच कर बिसरा सुरक्षित रख लिया गया है। पुलिस मामले की हर पहलु से जांच कर रही है।
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परिजनों का रो - रो कर बुरा हाल |
मां की ममता चीख उठी
घटना के बाद ट्रॉमा सेंटर में मातम पसरा रहा। मां पूनम बेटे के शव को सीने से लगाकर फूट-फूटकर रो रही थीं। उन्होंने कहा, "मैं सुबह बेटे को दूध पिलाकर, कलर बॉक्स और लंच रखकर स्कूल छोड़ने आई थी। मुझे क्या पता था कि यह उसकी आखिरी सुबह होगी। मेरा बच्चा पानी मांगता रहा, मगर किसी ने नहीं सुना। वह तड़प-तड़पकर मेरी गोद से छिन गया।"
स्कूल प्रबंधन ने आरोपों को बताया गलत
स्कूल के प्रबंधक कृष्ण मोहन गुप्ता ने कहा कि बच्चे को थप्पड़ नहीं मारा गया। उन्होंने बताया कि वह स्वयं दिल्ली में इलाज के लिए थे। उनका कहना है कि बच्चा बेंच से गिर गया, जिससे चोट लगी। स्कूल प्रशासन पर लगे सभी आरोपों को उन्होंने नकार दिया।
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घटना की जानकारी देते परिजन |
स्कूल बंद, स्टाफ फरार
घटना के बाद स्कूल में ताला डाल दिया गया है और समस्त स्टाफ फरार है। पुलिस स्कूल में लगे सीसीटीवी फुटेज, अन्य छात्रों और शिक्षकों से पूछताछ कर रही है। इस दर्दनाक घटना के बाद इलाके में आक्रोश है और परिजन न्याय की मांग कर रहे हैं।
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